नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (आइईए) ने कहा है कि अगले एक दशक के दौरान यानी 2025 तक भारत में हर रोज 12 हजार नई कारें बढ़ेंगी। निर्मित क्षेत्र बढ़कर दक्षिण अफ्रीका के कुल निर्मित क्षेत्र से ज्यादा हो जाएगा और एयर कंडीशनर्स (एसी) मैक्सिको की कुल खपत से ज्यादा बिजली खर्च करेंगे।आइईए ने अपने विश्व ऊर्जा परिदृश्य 2024 में कहा है कि 2035 तक भारत में सभी प्रकार की ऊर्जा की मांग बढ़ेगी।
इससे यह वैश्विक स्तर पर ऊर्जा की मांग के लिए वृद्धि का इंजन बन जाएगा। भारत इस समय दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा तेल खपत और आयात करने वाला देश है और 2035 तक इसकी तेल खपत में करीब 20 लाख बैरल प्रतिदिन वृद्धि होगी। अभी भारत की कुल तेल खपत करीब 52 लाख बैरल प्रतिदिन है जिसके 2035 तक 71 लाख बैरल प्रतिदिन होने का अनुमान है। आइईए के अनुमान के अनुसार, भारत 2028 तक दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी आर्थिकी बनने को लेकर सही दिशा में है।
अभी भारत दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी आर्थिकी है और 2023 में यह 7.8 प्रतिशत की विकास दर के साथ उभरती अर्थव्यवस्थाओं से सबसे तेजी से बढ़ा है। 2023 में चीन को पीछे छोड़कर भारत दुनिया का सबसे अधिक आबादी वाला देश बन गया है। जनसंख्या के आकार और सभी क्षेत्रों से बढ़ती मांग का मतलब है कि भारत अगले दशक में किसी भी अन्य देश की तुलना में अधिक ऊर्जा मांग वृद्धि के लिए तैयार है।